Navratri Day 8 : चैत्र नवरात्र के आठवें दिन को रामनवमी से पहले काफी विशेष माना जाता है। एक दिन बाद परब्रह्म भगवान राम का प्राकट्य होगा और अवध समेत पूरी दुनिया के लोग आनंद में डूब जाएंगे। रामनवमी से पहले जानिए, जाने चैत्र नवरात्र की अष्टमी तिथि का दिन क्यों है विशेष।
दरअसल, चैत्र नवरात्रि अंतिम पड़ाव में पहुंच चुकी है। आज मां दुर्गा की आठवीं शक्ति महागौरी की पूजा की गई। नवरात्रि के आठवें दिन की पूजा का विशेष महत्व है, इस दिन कन्या पूजन भी किया जाता है। माता के कुछ भक्त जो पूरे 9 दिन व्रत नहीं रख पाते, वे प्रतिपदा और अष्टमी तिथि को व्रत रखते हैं।
देवीभागवत पुराण में बताया गया है कि आठवें दिन की पूजा मां दुर्गा के मूल भाव को दर्शाता है और महादेव के साथ उनकी अर्द्धांगिनी के रूप में महागौरी ही सदैव विराजमान रहती हैं, इसलिए माता का एक नाम शिवा भी है। महागौरी की पूजा करने से सोमचक्र जागृत हो जाता है और इनकी कृपा मात्र से हर असंभव कार्य पूरा हो जाता है।
पौराणिक कथाओं के अनुसार, देवी पार्वती का जन्म पर्वतराज हिमालय के घर हुआ। देवी पार्वती को मात्र 8 वर्ष की उम्र में अपने पूर्वजन्म की घटनाओं का आभास हो गया है और तब से ही उन्होंने भगवान शिव को पति रूप में प्राप्त करने के लिए तपस्या शुरू कर दी थी।
अपनी तपस्या के दौरान माता केवल कंदमूल फल और पत्तों का आहार करती थीं । बाद में माता ने केवल वायु पीकर तप करना आरंभ कर दिया। तपस्या से देवी पार्वती को महान गौरव प्राप्त हुआ था इसलिए उनका नाम महागौरी पड़ा । इस दिन दुर्गा सप्तशती के मध्यम चरित्र का पाठ करना विशेष फलदायी माना जाता है।