Ganga Sagar Mela, पश्चिम बंगाल के गंगासागर के श्री कपिलमुनि मन्दिर के महंत ज्ञान दास जी महाराज के उत्तराधिकारी महंत संजय दास (Mahant sanjay das) ने कहा कि इस बार गंगा सागर मेले में 60 लाख से अधिक श्रद्घालुओं के आने की संभावना है।
खबर हिंदी से बात करते हुए उन्होंने ( (Mahant sanjay das) कहा कि केंद्र सरकार को यहां के लिए वित्तिय सहायता प्रदान करनी चाहिए। गंगा सागर मंदिर अयोध्या से संबंधित है। यहां पर पूज्य मंहत ज्ञानदास जी के छत्रछाया में मेले का आयोजन किया जाता है।
पिछले दो साल में कोरोना के कारण लोगों की उपस्थिति नहीं रही है। लेकिन इस बार लगभग 60 लाख लोगों के आने का अनुमान है। कुंभ के बाद दूसरा सबसे बड़ा मेला गंगा सागर का है। चार धाम की यात्रा करने वाले यात्री यहां भी दर्शन पूजन के लिए आते है। लेकिन यहां पर केंद्र सरकार की ओर से कोई व्यवस्था नहीं दी जा रही है।
इस द्वीप को विकसित करने के लिए केंद्र सरकार को आगे आने चाहिए। वहीं उन्होंने इसे राष्ट्रीय मेला घोषित करने की भी मांग की है।
वहीं महंत जी (Mahant sanjay das) के साथ मुकेश कुमार शास्त्री ने भी कहा कि मैं कई सालों से इस मेले में आ रहा हूं। मैं भी महंत जी के बातों से सहमत हूं। इस मेले में लाखों की संख्या में भक्त आते हैं और उनकी सुविधा का ध्यान केंद्र सरकार को रखना चाहिए और इसे राष्ट्रीय मेला घोषित करना चाहिए।
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आपको बता दें कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने बुधवार को केंद्र सरकार पर दक्षिण 24 परगना जिले के सागर द्वीप में गंगासागर मेले की ‘जानबूझकर उपेक्षा’ करने का आरोप लगाते हुए तीखा हमला बोला था।
सागर द्वीप की अपनी यात्रा के दौरान उन्होंने कहा था- केंद्र सरकार कुंभ मेले के लिए सभी सहायता और व्यय प्रदान करती है। लेकिन वह गंगासागर मेले के लिए कोई वित्तीय सहायता प्रदान नहीं करते हैं।
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गंगासागर मेले का पूरा खर्च राज्य द्वारा वहन किया जाता है। मैं केंद्र सरकार से गंगासागर द्वीप को राष्ट्रीय कार्यक्रम घोषित करने का अनुरोध करती हूं।
आपको बता दें कि नौ दिवसीय धार्मिक समागम 9 जनवरी से शुरू होगा और 17 जनवरी तक चलेगा, मकर संक्रांति के अवसर पर पवित्र डुबकी 14 और 15 जनवरी को लगाई जाएगी।