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  • November 21, 2024
  • Last Update November 16, 2024 2:33 pm
  • Noida

Rahul Gandhi 2031 तक नहीं लड़ सकेंगे चुनाव! कांग्रेस ‘मोदी’ के कानूनी दांवपेंच में कैसे उलझी? यहां समझिए

Rahul Gandhi 2031 तक नहीं लड़ सकेंगे चुनाव! कांग्रेस ‘मोदी’ के कानूनी दांवपेंच में कैसे उलझी? यहां समझिए

क्या Rahul Gandhi 2031 तक चुनाव नहीं सकेंगे चुनाव? ये सवाल इसलिए चर्चा में है क्योंकि कांग्रेस ‘मोदी’ के कानूनी दांवपेंच में उलझती दिख रही है। जी हां, ये प्रधानमंत्री नहीं पूर्णेश मोदी हैं। गुजरात के पूर्व मंत्री और भाजपा विधायक। इन्होंने सूरत के सीजेएम कोर्ट से राहुल को दो साल जेल की सजा कराई है। चार साल पहले जब राहुल गांधी ने कर्नाटक की चुनावी रैली में ‘सभी चोर मोदी सरनेम वाले क्यों?’ जैसा बयान दिया था, तो उन्हें शायद इस बात का अंदाजा नहीं रहा होगा कि उनकी सांसदी पर तलवार लटक जाएगी। न केवल तलवार लटकेगी, बल्कि कोर्ट के फैसले के अगले ही दिन लोक सभा महासचिव राहुल गांधी की संसद सदस्यता रद्द करने की अधिसूचना भी जारी कर देंगे। अब जबकि राहुल की सदस्यता सद्द हो गई है, समझिए ऐसे कौन से कानून हैं, जिनके तहत 2031 तक राहुल के चुनाव लड़ने पर रोक लगने की आशंका है।

Rahul Gandhi 2031 तक चुनाव नहीं सकेंगे चुनाव?

बता दें कि सुप्रीम कोर्ट के फैसले के आलोक में भारत में अगर किसी भी जनप्रतिनिधि को दो साल या इससे अधिक अवधि के लिए क्रिमिनल केस में दोषी पाया गया तो सजा पूरी होने के बाद अगले छह साल तक उसके चुनाव लड़ने पर रोक लग जाती है। इसी कानून के तहत राहुल गांधी को 2023 में संंसद सदस्यता गंवानी पड़ी। दो साल कैद की सजा की सूरत में मार्च 2023 से मार्च 2025 तक इन्हें जेल जाना पड़ सकता है। ऐसे में सजा पूरी होने के बाद अगले 6 साल तक यानी 2031 तक राहुल के चुनाव लड़ने पर रोक लग जाएगी।

Rahul Gandhi Disqualification से कैसे निपटेंगे

हालांकि, राहुल के लिए राहत एक सूरत में सामने आ सकती है। अभी राहुल को सूरत की सीजेएम कोर्ट से दोषी करार दिया गया है। इसके बाद इनके पास सेशंस कोर्ट में अपील का अधिकार है। सेशंस कोर्ट से राहत नहीं मिलने की सूरत में राहुल गुजरात हाईकोर्ट जा सकते हैं। हाईकोर्ट से राहत नहीं मिलने पर राहुल को सुप्रीम कोर्ट जाने का अधिकार होगा, लेकिन इस पूरे प्रोसेस में कितना समय लगेगा, इसकी गारंटी नहीं है। ऐसे समय में जब भारत की अदालतों में लाखों केस लंबित हैं और बंदी प्रत्यक्षीतकरण यानी Habeas Corpus जैसे मामलों की सुनवाई भी नहीं हो रही है, तो राहुल गांधी को अपने केस में कितने समय में राहत मिलेगी इसका जवाब तो आने वाला समय ही दे सकेगा।

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